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भारत के गवर्नर जर्रल और


वायसराय की सूची

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विभिन्न गिर्नर-जर्रल और िायसराय र्े शाही काल में िारत का र्ेतृत्व ककया। औपवर्िेशशक िारत र्े देखा है कक ये लोग कुछ
ऐसे वर्यम कार्ूर् को बर्ाते हैं, जो किी-किी देश के विकास में सहायक होता है तो किी किी देश के विकास में बाधा डालती
है। यह महत्वपूर्न है कक आप आधुवर्क िारतीय इवतहास पर कमांड रखर्े के शलए िारत के विभिन्न िायसराय के बारे में जार्ें।
आधुनर्क इनतहास एक ऐसा विषय है जो विभिन्न बैंककिं ग, एसएससी और रे लिे परीक्षाओिं में ज्यादातर पूछा जाता है। इसशलए,
यदद आप िारत के गिर्नर जर्रल और िायसराय की सूची पढ़ते हैं , तो यह वर्शित रूप से आपकी तैयारी में आपकी सहायता
करे गा। िारत के गिर्नर जर्रल और िायसराय की सूची को पीडीएफ में िी डाउर्लोड कर सकते हैं।

भारत के गवर्नर जर्रल और वायसराय- पररचय

गिर्नर-जर्रल मूल रूप से औपवर्िेशशक शासर् के दौरार् िारत में विकिश प्रशासर् के प्रमुख थे।

• 1773 के विवर्यमर् अभधवर्यम र्े फोिन विशलयम्स के प्रेसीडेंसी के गिर्नर-जर्रल या बिंगाल के गिर्नर-जर्रल के पद के साथ
कायालय बर्ाया, शजसे ईस्ट इिंकडया किंपर्ी (ईआईसी) के वर्दे शक मिंडल द्वारा वर्युक्त ककया गया था।)।
• िारत सरकार अभधवर्यम 1858 र्े िारत के मामलों की देखरे ख के शलए 1858 में िारत के राज्य सचचि का कायालय बर्ाया,
• 1858 के िारत सरकार अभधवर्यम को अपर्ार्े के बाद, क्राउर् का प्रवतवर्भधत्व करर्े िाले गिर्नर-जर्रल को िायसराय के रूप
में जार्ा जार्े लगा।
• िषन 1858 से, िारत के गिर्नर-जर्रल की वर्युक्तक्तयाँ, विकिश क्राउर् द्वारा िारत के राज्य सचचि की सलाह पर की जाती थीं।

निटिश भारत के गवर्नर जर्रल और वायसराय की सूची


र्ाम कायनकाल मुख्य कायन

- 1773 का अभधवर्यम बिंगाल की दोहरी सरकार को ख़त्म करर्े के शलए पेश ककया गया था
- बिंगाल की सुप्रीम काउिं शसल
- बिंगाल की एशशयाकिक सोसाइिी
- शाह आलम दद्वतीय के शलए मुग़ल पेंशर् रुका
- बिंगाल में द्वै ध शासर् की रोक
- जोर्ाथर् डेक्कर् द्वारा न्यू सिंस्कृत स्कूल
1774 -
िारे र् हेस्स्टिंग्स - मुशशनदाबाद से कलकत्ता तक िर ेजरी स्थार्ांतररत
1785
- बिंगाल गजि- प्रथम िारतीय समाचार पत्र प्रकाशशत
- पहला एिं ग्लो-मराठा युद्ध (1775-82)
- दूसरा एिं ग्लो-मैसरू युद्ध (1780-84)
- 1773–1774 का पहला रोदहल्ला युद्ध
- दूसरा रोदहला युद्ध 1779
- िूवम बस्तियों पर प्रयोग।

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(1772- पिंच िषीय समझौता, 1776- एक िषीय योजर्ा में बदला गया) - िागित गीता का अिंग्रेजी
अर्ुिाद

1785 -
जॉर् मैकफसनर् - यह पद अस्थायी रूप से ग्रहर् ककया था।
1786

- वर्चली और अपीलीय अदालतें स्थाकपत की गईं।


- 1793 में वबहार और बिंगाल में स्थायी बिंदोबि
ईस्ट इिंकडया किंपर्ी और बिंगाली जमींदारों के बीच जमीर् से उठाए जार्े िाले राजस्व को ठीक करर्े
के शलए एक समझौता।
लॉडन 1786 -
- तीसरा मैसूर युद्ध
कार्निाशलस 1793
- कॉर्निॉशलस कोड का पररचय
- िारत में शसविल सेिाओिं का पररचय
- उन्होंर्े पुशलस सुधारों की शुरुआत की, शजसके अर्ुसार प्रत्येक शजले को 400 िगन मील में
वििाशजत ककया गया और पुशलस अधीक्षक के अधीर् रखा गया।

- गैर-हिक्षेप की र्ीवत
1793 -
जॉर् शोर - वर्जाम और मराठों के बीच खारदा की लडाई (1795)
1798
- 1793 का चािनर एक्ट

1798 -
अलूरेड क्लाकन - यह पद अस्थायी रूप से ग्रहर् ककया था।
1798

- सब्सिकडयरी एलायिंस का पररचय - िारतीय शासकों को वर्यिंत्रर् में रखर्े और विकिश को सिोच्च
शक्तक्त बर्ार्े के शलए एक प्रर्ाली
- चौथा एिं ग्लो मैसूर युद्ध 1799
1798 - - दूसरा एिं ग्लो-मराठा युद्ध (1803-05)
लॉडन िैलेस्ली
1805 - उन्होंर्े कलकत्ता में किंपर्ी के कमनचाररयों को प्रशशशक्षत करर्े के शलए कॉलेज खोला।
िारत में र्ागररक सेिाओिं के कपता के रूप में जार्ा जाता है।
- कलकत्ता में फोिन विशलयम कॉलेज
- 1801 में मद्रास प्रेसीडेंसी का गठर्

लॉडन 1805 -
- यह पद अस्थायी रूप से ग्रहर् ककया था।
कार्निाशलस 1805

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1805 -
सर जॉजन बालो - िेल्लोर में शसपाही विद्रोह शजसमें िारतीय सैवर्कों र्े कई अिंग्रेजी अभधकाररयों को मार डाला
1807

1807 - - चािनर एक्ट 1813


लॉडन वमिंिो प्रथम
1813 -1809 में रर्जीत शसिंह के साथ अमृतसर की सिंभध

- गैर-हिक्षेप की र्ीवत को समाप्त ककया जो सर जॉर् शोर द्वारा शुरू ककया गया था
- तीसरा एिं ग्लो-मराठा युद्ध (1816-1818)
1813 - - 1816 में र्ेपाल के साथ सागौली की सिंभध
लॉडन हेस्स्टिंग्स
1823 - 1818 में बॉम्बे प्रेशसडेंसी का वर्मार्- मद्रास में रयोििारी प्रर्ाली की स्थापर्ा और
- मध्य िारत, पिंजाब और पशिमी यूपी में महलिारी प्रर्ाली- उन्होंर्े प्रेस की सेंसरशशप को खत्म कर
ददया।

1823 -
लॉडन एडम - विवर्यम लाइसेंशसिंग
1823

- पहला एिं ग्लो-बमी युद्ध (1824–26)


1823 -
लॉडन एमहस्टन - यिंडाबो की सिंभध, 1826
1828
- बैरकपुर का विद्रोह (1824)

1828 -
लॉडन बेली - यह पद अस्थायी रूप से ग्रहर् ककया था।
1828

- िारत के पहले गिर्नर जर्रल और उदार गिर्नर जर्रल के रूप में जार्े जाते थे
- बिंगाल सती विवर्यमर्, 1829
- चािनर अभधवर्यम 1833
- सिंत हे लेर्ा अभधवर्यम 1833
लॉडन विशलयम 1828 - - अिंग्रेजी शशक्षा अभधवर्यम 1835
बेंकिक 1835 - मेकडकल कॉलेज और अस्पताल, कोलकाता
- उन्होंर्े राजाराम मोहर् रॉय, दमर् ऑफ थगेजे की मदद से सती प्रथा के उन्मूलर् जैसे सामाशजक
सुधारों को अिंजाम ददया।
- उन्होंर्े अिंग्रेजी को उच्च शशक्षा की िाषा बर्ाया
- उन्होंर्े कन्या भ्रूर् हत्या और बाल बशलदार् को िी दबा ददया

सर चार्ल्न 1835 - - लाइसेंस विवर्यम 1823 वर्रि


मेिकैफ़ 1836 - उन्होंर्े अस्थायी रूप से पद सिंिाला और िर्ाक्यूलर प्रेस पर लगे प्रवतबिंध को हिा ददया।

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1836 -
लॉडन ऑकलैंड - प्रथम अफगार् युद्ध उर्के शासर्काल में लडा गया था।
1842

-अफगार् युद्ध को सफलतापूिनक पूरा ककया और 1843 में अिंग्रेजों के शलए शसिंध प्रांत की घोषर्ा की
1842 - - ईस्ट इिंकडया किंपर्ी के कोिन ऑफ डायरेक्टसन के आदे शों की अिहे लर्ा के शलए िारत के पहले
लॉडन एलेर् बोरो
1844 गिर्नर जर्रल बर्े।
- ग्वाशलयर के साथ युद्ध (1843) उर्के कायनकाल के दौरार् हु आ।

लॉडन 1844 -
- यह पद अस्थायी रूप से ग्रहर् ककया था।
विल्बरफोसन 1844

- प्रथम आिंग्ल-शसख युद्ध (1845-46)


1844 -
लॉडन हाकडिंग - दूसरा एिं ग्लो-शसख युद्ध (1848-49)
1848
- लाहौर की सिंभध

- विधिा पुर्विनिाह विधेयक पाररत ककया गया


- चार्ल्न िुड कडस्पैच शजसर्े स्कूल से लेकर विश्वविद्यालय तक शशक्षा की समुचचत व्यिस्था प्रदार् की
- दूसरा एिं ग्लो-बमी युद्ध (1852)
- बॉम्बे और थार्े को जोडर्े िाली पहली रेलिे लाइर्
1848 -
लॉडन डलहौजी - डायमिंड हाबनर से कलकत्ता के बीच पहली िेलीग्राम लाइर् वबछाई गई
1856
- डाकघर अभधवर्यम, 1854
- स्थाकपत लोक वर्मार् वििाग
- रुडकी में इिंजीवर्यररिंग कॉलेज की स्थापर्ा हु ई
- उन्होंर्े शशमला को ग्रीष्मकालीर् राजधार्ी बर्ाया

- िारत का पहला िायसराय


- 1858 में बॉम्बे विश्वविद्यालय, कलकत्ता और मद्रास की स्थापर्ा की गई
- 1857 का विद्रोह
1856 -
लॉडन कैवर्िंग - दहिंद ू विधिा पुर्विनिाह अभधवर्यम 1856
1862
- िारत सरकार अभधवर्यम, 1858
- दहिंद ू विधिाओिं का पुर्विनिाह अभधवर्यम, 1856
- िारतीय पररषद अभधवर्यम 1861 में पाररत ककया गया था

1862 -
लॉडन एब्सिर् -उर्के कायनकाल के दौरार् िहाबी आिंदोलर् हु आ और दब गया
1863

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सर रॉबिन 1863 -
- यह पद अस्थायी रूप से ग्रहर् ककया था।
र्ेकपयर 1863

सर विशलयम िी 1863 -
- यह पद अस्थायी रूप से ग्रहर् ककया था।
डेवर्सर् 1864

- िूिार् युद्ध
- 1863 में िारत की ग्रीष्मकालीर् राजधार्ी के रूप में शशमला की स्थापर्ा
- 1865 में कलकत्ता, बॉम्बे और मद्रास में उच्च न्यायालय की स्थापर्ा की गई
1864 - - उन्होंर्े िारतीय िर् वििाग बर्ाया
लॉडन लॉरें स
1869 - यूरोप के साथ खुली तार लाइर्।
- उन्होंर्े विभिन्न सुधारों की शुरुआत की और पिंजाब के दूसरे शसख युद्ध के बाद प्रशासर् मिंडल के
सदस्य बर्े
- उन्हें पिंजाब के मुक्तक्त दाता के रूप में जार्ा जाता था।

- िारत में वित्तीय विकेंद्रीकरर् शुरू ककया


- उन्होंर्े िारतीय राजकुमारी के शलए कादठयािाड में राजकोि कॉलेज और अजमेर में मेयो कॉलेज
की स्थापर्ा की।
1869 -
लॉडन मेयो - िारत की पहली जर्गर्र्ा 1871 में उर्के समय के दौरार् आयोशजत की गई थी।
1872
- उन्होंर्े िारत के सांख्यिकीय सिेक्षर् का आयोजर् ककया।
- िे एकमात्र िायसराय थे शजर्की 1872 में अिंडमार् में एक पठार् द्वारा कायालय में हत्या कर दी गई
थी।

1872 -
सर जॉर् स्टर ेची - यह पद अस्थायी रूप से ग्रहर् ककया था।
1872

मचचनस्टर् के 1872 -
- यह पद अस्थायी रूप से ग्रहर् ककया था।
लॉडन र्ेकपयर 1872

-1875 में कप्रिंस ऑफ िेर्ल् का दौरा हु आ


1872 -
लॉडन र्ाथनिुक - बडौदा के गेलकिार का परीक्षर् हु आ
1876
- पिंजाब में कूका आिंदोलर् उर्के कायनकाल के दौरार् हु आ।

- दूसरा एिं ग्लो-अफगार् युद्ध


1876 -
लॉडन शलिर् - िारतीय अभधवर्यम (1878)
1880
- ददल्ली दरबार 1 जर्िरी 1877 को आयोशजत ककया गया था, महारार्ी विक्टोररया को कैसर-ए-दहिंद

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के खखताब से र्िाजर्े के शलए


- 1879 में िैधावर्क शसविल सेिा। यह िी वर्धाररत ककया गया था कक उम्मीदिारों को इिंस्तग्सलैंड में
होर्े िाली शसविल सेिा परीक्षा में शावमल होकर पास करर्ा था साथ ही उम्मीदिारों की अभधकतम
आयु 21 से घिाकर 19 िषन कर दी गई।
- िर्ाक्यूलर प्रेस एक्ट 1878 में पाररत ककया गया था।

- पहला कारखार्ा अभधवर्यम (1881), इसर्े बाल श्रम को प्रवतबिंभधत ककया


- िर्ाक्युलर प्रेस एक्ट का वर्रसर् (1882)
1880 - - अल्बिन वबल (1883)
लॉडन ररपर्
1884 - शसविल सेिा परीक्षा में प्रिेश के शलए आयु 21 िषन की गई।
- 1882 में स्थार्ीय स्वशासर् अभधवर्यम पाररत
- उन्हें िारत में स्थार्ीय स्वशासर् के कपता के रूप में िी जार्ा जाता था

1884 - - िारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का गठर्


लॉडन डफ़ररर्
1888 - तीसरा एिं ग्लो-बमी युद्ध

- िारतीय काउिं शसल एक्ट 1892 में पाररत ककया गया था। सेकेंड फैक्टर ी एक्ट (1891) उर्के समय के
1888 - दौरार् पाररत ककया गया था।
लॉडन लैंसडाउर्e
1894 - उन्होंर्े विकिश िारत और अफग़ावर्िार् के बीच एक रे खा को पररिाकषत करर्े के शलए डू रिंड
आयोग की वर्युक्तक्त की।

1894 - - उर्के कायनकाल के दौरार् चापेकर बिंधुओ िं (1897) द्वारा दो विकिश अभधकाररयों की हत्या कर दी
लॉडन एब्सिर् II
1899 गई।

-बिंगाल का वििाजर् (1905) दो प्रांतों- बिंगाल और पूिी बिंगाल में उर्के समय में हु आ था।
1899 - - िारत की सांस्कृवतक विरासत को पुर्स्थाकपत करर्े के शलए प्राचीर् स्मारक अभधवर्यम (1904)
लॉडन कजनर्
1905 पाररत। इस प्रकार, िारतीय पुरातत्व सिेक्षर् की स्थापर्ा की।
- स्वदे शी आिंदोलर् चलाया गया

- 1909 में मॉले-वमिंिो सुधार पाररत ककया गया था


1905 - - वििाजर् और स्वदे शी आिंदोलर्ों का लोककप्रय होर्ा
लॉडन वमिंिो
1910 - सूरत में 1907 के िाकषनक सत्र में कांग्रेस में वििाजर् हु आ।
- आगा खार् (1906) द्वारा मुस्लस्लम लीग की स्थापर्ा।

- इिंग्लैंड के ककिं ग जॉजन पिंचम र्े 1911 में ददल्ली दरबार में िाग शलया
1910 -
लॉडन हाकडिंग - बिंगाल का वििाजर् रद्द कर ददया गया और 1911 में राजधार्ी को कलकत्ता से ददल्ली स्थार्ांतररत
1916
कर ददया गया।

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- 1915 में गाँधीजी दशक्षर् अफ्रीका से िारत लौिे


- होम रूल मूिमेंि - एर्ी बेसेन्ट द्वारा शुरू ककया गया था

- 1917 का अगि घोषर्ा, शजसके बाद िारत सरकार का वर्यिंत्रर् िारतीय लोगों को िापस हो
जाएगा।
- रोलेि एक्ट 1919 पाररत ककया गया
1916 - - मोंिेग्यू-चेम्सफोडन सुधार पाररत ककया गया था
लॉडन चेम्सफोडन
1921 - िारत सरकार अभधवर्यम 1919 पाररत ककया गया
- जशलयांिाला बाग हत्याकांड 1919
- असहयोग और खखलाफत आिंदोलर् हु आ
- 1919 में पूर्ा में मदहला विश्वविद्यालय की स्थापर्ा हु ई

- असहयोग आिंदोलर् का दमर् ककया


- चौरी - चौरा की घिर्ा हु ई
1921 -
लॉडन रीकडिंग - स्वराज पािी का गठर्
1926
- 1921 में आयोशजत INS का अहमदाबाद अभधिेशर्।
- रौलि एक्ट वर्रि ककया गया

- 1928 में साइमर् कमीशर् र्े िारत का दौरा ककया


- डांडी माचन 1930 में आयोशजत ककया गया था
1926 -
लॉडन इरविर् - 1930 में सविर्य अिज्ञा आिंदोलर् शुरू ककया गया
1931
- गांधी- इरविर् सिंभध पर हिाक्षर ककए गए और फ़स्टन राउिं ड िेबल
सम्मेलर् 1931 में आयोशजत ककया गया था।

- पूर्ा पैक्ट पर हिाक्षर ककए गए


1931 - - उर्के समय के दौरार् दूसरा और तीसरा गोलमेज सम्मेलर् आयोशजत ककया गया था
लॉडन विशलिंगिर्
1936 - सांप्रदाक्तयक पुरस्कार विकिश प्रधार् मिंत्री रामसे मैकडोर्ाल्ड द्वारा शुरू ककया गया
- िारत सरकार अभधवर्यम (1935) पाररत ककया गया।

- िारत सरकार अभधवर्यम प्रांतों में लागू


1936 - - 1942 में कक्रप्स वमशर् र्े िारत का दौरा ककया
लॉडन शलर्शलथगो
1943 - 1942 में िारत छोडो आिंदोलर् शुरू ककया गया था
- दद्वतीय विश्व युद्ध 1939 में हु आ

1943 - - शशमला सम्मेलर् 25 जूर्, मुस्लस्लम लीग और िारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के बीच 1945 को आयोशजत
लॉडन िैिेल
1947 ककया गया था जो कक असफ़ल रहा।

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- कैवबर्ेि वमशर् योजर्ा 1946 में शुरू की गई थी।


- 09 ददसिंबर1946 को; सिंविधार् सिा की पहली बैठक हु ई।

- अिंवतम िायसराय और स्वतिंत्र िारत के पहले गिर्नर जर्रल


- िारत का वििाजर् 3 जूर्, 1947 को हु आ था
1947 -
लॉडन माउिं िबेिर् - विकिश सिंसद द्वारा 4 जुलाई 1947 को िारत स्वतिंत्र अभधवर्यम पाररत ककया गया था। 15 अगि,
1948
1947 को अभधवर्यम के अर्ुसार िारत स्वतिंत्र हो गया।
- उन्हें सी. राजगोपालाचारी द्वारा मुक्त ककया गया, जो कक स्वतिंत्र िारत के अिंवतम गिर्नर जर्रल थे।

गिर्नर-जर्रल के पास मूल रूप से बिंगाल में फोिन विशलयम्स के राष्ट्रपवत पद पर सत्ता थी। हालांकक, विवर्यमर् अभधवर्यम र्े
उन्हें विदेशी मामलों और रक्षा से सिंबिंभधत अवतररक्त शक्तक्तयां प्रदार् कीं। जबकक गिर्नर-जर्रल िारत में विदेश र्ीवत का वर्यिंत्रक
बर् गया, िह विकिश िारत का स्पष्ट् प्रमुख र्हीं था।
अगि 1947 में स्वतिंत्रता वमलर्े पर, िारत के िायसराय की उपाभध समाप्त कर दी गई। विकिश सािनिौम का प्रवतवर्भध एक
बार कफर गिर्नर-जर्रल के रूप में जार्ा जार्े लगा। सी. राजगोपालाचारी एकमात्र, िारतीय गिर्नर-जर्रल बर्े। हालांकक, एक
बार जब िारत र्े स्वतिंत्रता प्राप्त कर ली, तब गिर्नर-जर्रल की िूवमका लगिग पूरी तरह से औपचाररक हो गई, शजसमें
िारतीय कैवबर्ेि द्वारा एक ददर् के आधार पर शक्तक्त का प्रयोग ककया गया था। 1950 में राष्ट्र बर्र्े के बाद, िारत के राष्ट्रपवत र्े
समार् कायन करर्ा जारी रखा।

अब जब आप िारत के गिर्नर जर्रल और िायसराय के बारे में वििार से जार्ते हैं , तो इवतहास, पयािरर्, करेंि अफेयसन
आदद से स्टेटिक जीके सेक्शर् के और अभधक लेख पढ़ें।

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