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विशेषण 1
विशेषण 1
विशेषण
उदाहरण -
'वहमालय एक वर्शाल पर्वत है।' यहााँ "विशाल" शब्द "विमालय" की वर्शेषता बताता है; इसवलए र्ह वर्शेषण है।
वर्शेषण के भेद―
1.गुणिाचक विशेषण- विन शब्दों से संज्ञा के गुण अथर्ा दोष का बोध होता है;उन्हें गुणर्ाचक वर्शेषण कहते हैं।
2.संख्यािाचक विशे षण- वकसी र्स्तु की वर्शेषता को संख्या या वगनती में बताने र्ाले वर्शेषण संख्यार्ाची वर्शेषण
कहलाते हैं , इसे वनम्न भागों में बााँटा िा सकता है ―
अ) वनवित संख्यािाचक विशेषण – िो शब्द वकसी संज्ञा या सर्वनाम की वनवित संख्या का बोध कराये उसे वनवित
संख्यार्ाचक वर्शेषण कहते हैं -
िैसे-
ब) अवनवित संख्यािाचक विशेषण- िो वर्शेषण शब्द वकसी संज्ञा की वनवित संख्या का बोध न कराते हो;अवनवित
संख्यार्ाचक वर्शेषण कहलाते हैं।
िैसे-
िैसे-
3.पररमाणिाचक विशेषण- विन संज्ञाओं की गणना के स्थान पर माप-तौल होती है;उनकी वर्शेषता(माप-तौल,पररमाण)
बताने र्ाले शब्द पररमाणर्ाचक वर्शेषण कहलाते हैं ।
1. वनवित पररमाणिाचक विशेषण- िो वर्शेषण शब्द वकसी संज्ञा की वनवित मापतौल व्यक्त करते हैं;वनवित
पररमाणर्ाचक वर्शेषण कहलाते हैं।
िैसे-
2. अवनवित पररमाणिाचक विशे षण- विन शब्दों से र्स्तुओं की वनवित मापतौल का बोध न हो;अवनवित
पररमाणर्ाचक वर्शेषण कहलाते हैं।
4.सािवनावमक विशेषण- िो सर्वनाम शब्द संज्ञा के वलए वर्शेषण का कायव करते हैं;उन्हें सार्वनावमक वर्शेषण कहते हैं।
िैसे- यह,र्ह,िो,कौन,क्या,कोई आवद शब्द संज्ञा से पूर्व प्रयुक्त होकर वर्शेषण का कायव करते हैं।
इस परीक्षाथी ने नकल की है ।
तुलनात्मक विशेषण-
“जो शब्द संज्ञा शब्दों की विशे षता उतार-चढ़ाि के साथ व्यक्त करते िैं;यिी उतार-चढ़ाि तुलनात्मक विशेषण
में रखा गया िै।
“दो या दो से अवधक िस्तुओ ं या भािों के गुण,मान आवद के परस्पर वमलान का विशेषण ‘तु लनात्मक विशेषण’
किलाता िै ।*
वहंदी में इस वर्षय पर अवधक चचाव नहीं होती, वकन्तु इसके तीन भेद माने गए हैं -
अ)मूलािस्था- इसमें तुलना न होकर,वर्शेषता सामान्य रूप से सीधे व्यक्त की िाती है;िैसे-
कोमल,गुरु,वनम्न आवद ।
ब)उत्तरािस्था- इसमें वर्शेषता का दो के मध्य तुलनात्मक वर्शेषण होता है;विसमें एक की अवधकता और एक की न्यूनता
वदखाई िाती है ।
स)उत्तमािस्था- इसमें अनेक में से वकसी एक को सबसे अवधक गुणशाली या दोषी बताया िाता है।
िैसे-
िैसे- अचवना अत्यंत सुंदर है;यहााँ अचवना सुंदर है वकंतु अवधक वर्शेषता अत्यंत द्वारा व्यक्त हो रही है;