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Science X (Hindi) Set 3
Science X (Hindi) Set 3
Science X (Hindi) Set 3
1 आप जािते हैं नि अभ्यनथिय ों िे वास्तनवि एवों सही मूल्ाों िि में मूल्ाों िि सबसे महत्वपूर्ि प्रनिया है । मूल्ाों िि में
एि छ टी सी गलती गोंभीर समस्याओों िा िारर् बि सिती है ज उम्मीर्दवार ों िे भनवष्य, नशक्षा प्रर्ाली और
नशक्षर् पेशे ि प्रभानवत िर सिती है । गलनतय ों से बचिे िे नलए आपसे अिुर ध है नि मूल्ाों िि शुरू िरिे से
पहले स्पॉट मूल्ाों िि नर्दशानिर्दे श ों ि ध्याि से पढें और समझें।
2 “मूल्ाों िि िीनत एि ग पिीय िीनत है क् नों ि यह आय नजत परीक्षाओों, निए गए मूल्ाों िि और िई अन्य पहलुओों
िी ग पिीयता से सोंबोंनधत है । इसिे निसी भी तरह से जिता िे बीच लीि ह िे से परीक्षा प्रर्ाली पटरी से उतर
सिती है और लाख ों उम्मीर्दवार ों िे जीवि और भनवष्य पर असर पड़ सिता है । इस िीनत/र्दस्तावेज़ ि निसी िे
साथ साझा िरिे , निसी पनििा में प्रिानशत िरिे और समाचार पि/वेबसाइट आनर्द में छापिे पर ब र्ि और
आईपीसी िे नवनभन्न नियम ों िे तहत िारि वाई ह सिती है । '
3 मूल्ाों िि अोंिि य जिा में नर्दए गए निर्दे श ों िे अिुसार निया जािा है । इसे अपिी व्याख्या या निसी अन्य नवचार िे
अिुसार िही ों निया जािा चानहए। अोंिि य जिा िा िड़ाई से पालि निया जािा चानहए। हालााँ नि, मूल्ाों िि िरते
समय, ज उत्तर िवीितम जाििारी या ज्ञाि पर आधाररत हैं और/या िवीि हैं , अन्यथा उििी सत्यता िा मूल्ाों िि
निया जा सिता है और उन्हें उनचत अोंि नर्दए जा सिते हैं । िक्षा-X में, र्द य ग्यता-आधाररत प्रश् ों िा मूल्ाों िि
िरते समय, िृपया नर्दए गए उत्तर ि समझिे िा प्रयास िरें और भले ही उत्तर अोंिि य जिा से ि ह , लेनिि
उम्मीर्दवार द्वारा सही य ग्यता नगिाई गई ह , उनचत अोंि नर्दए जािे चानहए।
4 अोंिि य जिा में उत्तर ों िे नलए िेवल सुझाए गए मूल् अोंि ह ते हैं
ये िेवल नर्दशानिर्दे श ों िी प्रिृनत में हैं और सोंपूर्ि उत्तर िही ों बिाते हैं । नवद्यानथिय ों िी अपिी अनभव्यक्ति ह सिती
है और यनर्द अनभव्यक्ति सही है त उसिे अिुसार उनचत अोंि नर्दये जािे चानहए।
5 प्रधाि-परीक्षि ि पहले नर्दि प्रत्येि मूल्ाों िििताि द्वारा मूल्ाों िि िी गई पहली पाों च उत्तर पुक्तस्तिाओों ि र्दे खिा
ह गा, तानि यह सुनिनित ह सिे नि मूल्ाों िि अोंिि य जिा में नर्दए गए निर्दे श ों िे अिुसार निया गया है । यनर्द
ि ई नभन्नता ह त नवचार-नवमशि िे बार्द उसे शून्य निया जाए। मूल्ाों िि िे नलए शे ष उत्तर पुक्तस्तिाएों यह
सुनिनित िरिे िे बार्द ही र्दी जाएों गी नि व्यक्तिगत मूल्ाों ििितािओों िे अोंिि में ि ई महत्वपूर्ि नभन्नता िही ों है ।
6 जहाों भी उत्तर सही ह गा, मूल्ाों िििताि (√) अोंनित िरें गे। गलत उत्तर िे नलए िॉस 'X' अोंनित निया जाए।
मूल्ाों िििताि मूल्ाों िि िरते समय सही (✓) िहीों लगाएों गे नजससे यह आभास ह गा नि उत्तर सही है और ि ई
अोंि िही ों नर्दया गया है । यह सबसे आम गलती है ज मूल्ाों िििताि िर रहे हैं ।
7 यनर्द निसी प्रश् िे िुछ भाग हैं , त िृपया प्रत्येि भाग िे नलए र्दानहिी ओर अोंि र्दें । निर प्रश् िे नवनभन्न भाग ों िे
नलए नर्दए गए अोंि ों ि ज ड़ नर्दया जािा चानहए और बाएों हाथ िे हानशये में नलखा जािा चानहए और घेरा बिाया
जािा चानहए। इसिा सख्ती से पालि निया जा सिे.
8 यनर्द निसी प्रश् में ि ई भाग िही ों है , त बाएों हाथ िे हानशए में अोंि नर्दए जािे चानहए और घेरा लगािा चानहए।
इसिा भी सख्ती से पालि निया जा सिता है .
9 यनर्द निसी छाि िे एि अनतररि प्रश् िा प्रयास निया है , त अनधि अोंि ों िे य ग्य प्रश् िा उत्तर बरिरार रखा
जािा चानहए और र्दूसरे उत्तर ि "अनतररि प्रश्" ि ट िे साथ िाट नर्दया जािा चानहए।
10 निसी िुनट िे सोंचयी प्रभाव िे नलए ि ई अोंि िही ों िाटा जाएगा। इसे िेवल एि बार र्दों नर्त निया जािा चानहए।
12 प्रत्येि परीक्षि ि आवश्यि रूप से पूरे िायि समय अथाि त प्रनतनर्दि 8 घोंटे ति मूल्ाों िि िायि िरिा ह गा तथा
मुख्य नवषय ों में प्रनतनर्दि 20 उत्तर पुक्तस्तिाओों तथा अन्य नवषय ों में प्रनतनर्दि 25 उत्तर पुक्तस्तिाओों िा मूल्ाों िि
िरिा ह गा (स्पॉट गाइर्लाइन्स में नववरर् नर्दया गया है )। प्रश् पि में िम निये गये पाठ्यिम और प्रश् ों िी सोंख्या।
13 सुनिनित िरें नि आप अतीत में परीक्षि द्वारा िी गई निम्ननलक्तखत सामान्य प्रिार िी िुनटयााँ ि िरें : -
● उत्तर पुक्तस्तिा में उत्तर या उसिे निसी भाग ि नबिा मूल्ाों िि निये छ ड़ र्दे िा।
● निसी उत्तर िे नलए निधाि ररत अोंि से अनधि अोंि र्दे िा।
● निसी उत्तर पर नर्दए गए अोंि ों िा गलत य ग।
● उत्तर पुक्तस्तिा िे अोंर्दर िे पन्न ों से मुख्य पृष्ठ पर अोंि ों िा गलत स्थािाों तरर्।
● शीषिि पृष्ठ पर गलत प्रश्वार य ग।
● शीषिि पृष्ठ पर र्द िॉलम ों िे अोंि ों िा गलत य ग।
● गलत य ग।
● शब् ों और अोंि ों में अोंनित नचह्न मेल िही ों खाते/समाि िही।ों
● उत्तर पुक्तस्तिा से ऑिलाइि पु रस्कार सूची में अोंि ों िा गलत स्थािाों तरर्।
● उत्तर ों ि सही िे रूप में नचनह्नत निया गया, लेनिि अोंि िही ों नर्दए गए। (सुनिनित िरें नि सही नटि मािि सही
और स्पष्ट रूप से इों नगत निया गया है । यह िेवल एि पोंक्ति ह िी चानहए। गलत उत्तर िे नलए एक्स िे साथ भी
ऐसा ही है ।)
● उत्तर िे आधे या िुछ भाग ि सही और शेष ि गलत नचनह्नत निया गया, लेनिि ि ई अोंि िही ों नर्दया गया।
14 उत्तर पुक्तस्तिाओों िा मूल्ाों िि िरते समय यनर्द उत्तर पूरी तरह से गलत पाया जाता है , त इसे िॉस (X) िे रूप में
नचनह्नत निया जािा चानहए और शून्य (0) अोंि नर्दए जािे चानहए।
15 ि ई भी मूल्ाों िि ि निया गया भाग, शीषिि पृष्ठ पर अोंि ि ले जािा, या उम्मीर्दवार द्वारा पाई गई िुल िुनट से
मूल्ाों िि िायि में लगे सभी िनमिय ों और ब र्ि िी प्रनतष्ठा ि िुिसाि ह गा। इसनलए, सभी सोंबोंनधत पक्ष ों िी प्रनतष्ठा
बिाए रखिे िे नलए, यह निर से र्द हराया जाता है नि निर्दे श ों िा सावधािीपूविि और नववेिपूर्ि तरीिे से पालि
निया जाए।
16 परीक्षि ों ि वास्तनवि मूल्ाों िि शुरू िरिे से पहले "स्पॉट मूल्ाों िि िे नलए नर्दशानिर्दे श" में नर्दए गए
नर्दशानिर्दे श ों से पररनचत ह िा चानहए।
17 प्रत्येि परीक्षि यह भी सुनिनित िरे गा नि सभी उत्तर ों िा मूल्ाोंिि निया गया है , अोंि ों ि शीषिि पृष्ठ पर ले
जाया गया है , सही ढों ग से य ग निया गया है और अोंि ों और शब् ों में नलखा गया है ।
18 उम्मीर्दवार निधाि ररत प्रसोंस्करर् शुल्क िा भुगताि िरिे अिुर ध पर उत्तर पुक्तस्तिा िी ि ट िॉपी प्राप्त िरिे िे
हिर्दार हैं । सभी परीक्षि /ों अनतररि प्रधाि परीक्षि /ों प्रधाि परीक्षि ों ि एि बार निर यार्द नर्दलाया जाता है नि
उन्हें यह सुनिनित िरिा ह गा नि मूल्ाों िि अोंिि य जिा में नर्दए गए प्रत्येि उत्तर िे नलए मूल् नबोंर्दुओों िे
अिुसार सख्ती से निया जाए।
छाया वाले भाग में आ जाता है। प्रर ह िी प्रिाश से र्दूर वाली साइर् में ऑक्तक्सि िा
1½
साोंद्रर् ि नशिाओों ि लोंबाई में वृक्ति िे नलए उद्दीनपत िरता है। अतः पार्दप
2
23
(a) मटर िे पौध ों िे र्द दृनष्टग चर ह िे वाले नवपयािसी (नविल्पी) लक्षर् ों िे युगल:
अथवा
(b)
½
½
½ 2
24
• जब वह पास िी वस्तुओों ि स्पष्ट रूप से िहीों र्दे ख पाता है लेनिि र्दूर ½
िी वस्तुओों ि स्पष्ट रूप से र्दे ख पाता है।
• 2 कारण:
नचि-12.11, पेज.223-NCERT
आरे ख: 1
नामाांकन: ½
26
• अपघटि ( अपमाजिि):- वे सूक्ष्मजीव हैं ज जनटल िाबिनिि पर्दाथों ि सरल 1
अिाबिनिि पर्दाथों में त ड़ र्दे ते हैं।
पररणाम :
27
(a) उभयधमी ऑक्साइर् (नजोंि ऑक्साइर्) अम्ल तथा क्षारि र्द ि ों से अनभनिया 1
िरिे लवर् तथा जल प्रर्दाि िरता है।
(b) खुले में रखिे पर, स नर्यम धातु हवा िे साथ तीव्र अनभनिया िरती है और आग 1
पिड़ लेती है/ नमट्टी िा तेल स नर्यम ि हवा िे सोंपिि में आिे से तथा आग पिड़िे
से र िता है।
28 (a)
(i) अपचयन प्रक्रिया – भजिि ½
½
कारण- मििरी िा िम नियाशील ह िा।
अथवा
(b)
(i) क्रदखावट में पररवर्तन - सिेर्द से िाला रों ग। ½+½
कारण- नसल्वर सल्फाइर् बिता है।
(b) सीमाएँ :
(1) सविप्रथम वे िेवल उन्हीों ि नशिाओ ति पोंहुोंचेंगी, ज तोंनििा ऊति से जुड़ी हैं ,
जोंतु शरीर िी प्रत्येि ि नशिा ति िहीों। ½
(2) एि बार एि ि नशिा में नवद्दयुत आवेग जनित ह ता है त पुिः िया आवेग जनित
½
िरिे तथा उसे सोंचाररत िरिे िे नलए ि नशिा निर से अपिी िायिनवनध ि
सुचारू िरिे िे नलए िुछ समय लेगी।
(कोई अन्य) 3
31
• प्रिाश िा प्रिीर्िि / नटों र्ल प्रभाव। 1
• जब एि प्रिाश निरर् पुोंज धुोंए िे महीि िर् ों से टिराती है त वह र्दूर ति परावनतित
• अत्योंत सूक्ष्म िर् मुख्य रूप से िीले प्रिाश/छ टी तरों गर्दै ध्यि वाले रों ग ि प्रिीर्ि िरते
1
हैं जबनि बड़े आिार िे िर् अनधि तरों गर्दै ध्यि वाले प्रिाश ि प्रिीर्ि िरते हैं।
3
32
• यह नवद्दयुत उपिरर् /ों सानधि ों तथा नवद्दयुत पररपथ ि ओवरल नर्ों ग तथा शॉटि 1
सनििट से ह िे वाली क्षनत से बचाता है।
P=VI ½
P 3000 𝑊
I= = 220 𝑉 = 13·63 A 1
V
• 13·63 A > फ़्यूज़ िी रे नटों ग 5 A, इसनलए फ़्यूज़ िा तार नपघल जाएगा और सनििट
ि त ड़ र्दे गा। ½
1 1 1 1 1
सूत्र :- = + +
Rp R1 R 2 R 3
𝑅 3𝑅
(b) R+2= 1
2
3
SECTION D (खण्ड-घ)
34 (a) (i)
(1) नवलयि B
(2) नवलयि C
(3) नवलयि A
(4) नवलयि D
(5) नवलयि E ½x5
• X – Cl2 गैस – एि र् पर ½+ ½
• Y – H2 गैस – िैथ र् पर ½+½
(i)
• बीजार्ु वे जिि सोंरचिाएों हैं ज जिि जीव से अलग ह िर िये जीव ों ि उत्पन्न ½
िरती हैं।
• बीजार्ुधािी / बीजार्ुधानियााँ ½
• प्रनतिूल पररक्तस्थनतय ों से सुरक्षा िे नलए इििे चार ों ओर एि म टी नभनत्त ह ती है ।
½
• राइज पस ½
(ii)
• ऐसे पौधे ज बीज उत्पन्न िरिे िी क्षमता ख चुिे हैं।
(b) (i)
• A - िर जिि ि नशिा / िर युग्मि; B − पराग िली;
½x3
C − मार्दा जिि ि नशिा / मार्दा युग्मि।
• युग्मिज अिेि बार नवभानजत ह िर बीजाोंर् में, भ्रूर् िे रूप में नविनसत ह जाता
है।
• बाह्यर्दल, पोंखुड़ी, पुोंिेसर, वनतििा,एवों वनतििाग्र प्राय:मुरझािर नगर जाते हैं। ½x4
36 (a) (i)
(1)
नचि.9.13(b)-पेज-169, NCERT.
(नोट:- यक्रद क्रकरणोां की क्रदर्ाएँ नही ां क्रदखाई गई है र्ो आिा अांक काट लें)
(ii)
1 –1
=
v 48
v = – 48 cm 1
ℎ′ −48
= −16
4
h' = 12 cm ½
(b) (i)
(1)
(2)
(नोट:- यक्रद क्रकरणोां की क्रदर्ाएां नही ां क्रदखाई गई है र्ो आिा अांक काट लें)
1 1 1
र्दपिर् सूि + = ½
v u f
1 1 1
= –
v f u
1 1
= –
– 12 cm – 18 cm
−1
= 36
v = – 36 cm 1
ℎ′ 𝑣
𝑚= = −𝑢 ½
ℎ
ℎ′ (−36)
= - (−18)
1.5
ℎ′ = – 3·0 cm ½
SECTION E (खण्ड-र्.)
37
(a) • CH3Br ½
• C2H5Br ½
½
(b) (i) एक्तिहाइर् ½
(ii) िीट ि
(c)
½
• KMnO4 िा रों ग नवलुप्त ह जाता है ;
½
• KMnO4 ऑक्सीिारि िे रूप में िायि िरता है ।
क्षारीय 𝐾𝑀𝑛𝑂4 +ऊष्मा 1
• CH3CH2OH → CH3COOH
अथवा
(c) • एथीि ½
तिु. H2SO4 निजिलीिारि िे रूप में िायि िरता है। ½
(c)
(i) आमाशय िा आतोंररि आस्तर अम्लीय प्रभाव से सुरनक्षत िहीों रहे गा । 1
1
(ii) पानचत भ जि अवश नषत िहीों ह गा। / अवश षर् क्षेि िम ह जाएगा ।
अथवा
(c)
• वसा िा इमल्सीिरर्। 1
• अग्न्याशय िे एों जाइम ों िी निया िरिे िे नलए अम्लीय माध्यम ि क्षारीय बिाता है। 1
4
39
(a) (i) बल्ब A प्रर्दीप्त ह गा । ½
½
(ii) बल्ब B, C, D और E प्रर्दीप्त ह ग
ों े ।
(b) P = V×I ½
11 = 55 ×I
1
I = 5 = 0.2 ऐक्तियर ½
(c)
𝑉 55 𝑉
(i) बल्ब B िा प्रनतर ध, R = 𝐼 = = 275 1
0.2 𝐴
𝑽𝟐
(प्रनतर ध िे नलए वैिक्तल्पि सूि R = )
𝑷
= 4 275 = 1100
अथवा
(c)
• बल्ब A उसी चमि िे साथ प्रर्दीप्त ह गा। ½
बल्ब A अप्रभानवत रहता है, क् नों ि यह समािाोंतर सोंय जि में जुड़ा हुआ है।
4
****
1 आप जािते हैं नि अभ्यनथिय ों िे वास्तनवि एवों सही मूल्ाों िि में मूल्ाों िि सबसे महत्वपूर्ि प्रनिया है । मूल्ाों िि में
एि छ टी सी गलती गोंभीर समस्याओों िा िारर् बि सिती है ज उम्मीर्दवार ों िे भनवष्य, नशक्षा प्रर्ाली और
नशक्षर् पेशे ि प्रभानवत िर सिती है । गलनतय ों से बचिे िे नलए आपसे अिुर ध है नि मूल्ाों िि शुरू िरिे से
पहले स्पॉट मूल्ाों िि नर्दशानिर्दे श ों ि ध्याि से पढें और समझें।
2 “मूल्ाों िि िीनत एि ग पिीय िीनत है क् नों ि यह आय नजत परीक्षाओों, निए गए मूल्ाों िि और िई अन्य पहलुओों
िी ग पिीयता से सोंबोंनधत है । इसिे निसी भी तरह से जिता िे बीच लीि ह िे से परीक्षा प्रर्ाली पटरी से उतर
सिती है और लाख ों उम्मीर्दवार ों िे जीवि और भनवष्य पर असर पड़ सिता है । इस िीनत/र्दस्तावेज़ ि निसी िे
साथ साझा िरिे , निसी पनििा में प्रिानशत िरिे और समाचार पि/वेबसाइट आनर्द में छापिे पर ब र्ि और
आईपीसी िे नवनभन्न नियम ों िे तहत िारि वाई ह सिती है । '
3 मूल्ाों िि अोंिि य जिा में नर्दए गए निर्दे श ों िे अिुसार निया जािा है । इसे अपिी व्याख्या या निसी अन्य नवचार िे
अिुसार िही ों निया जािा चानहए। अोंिि य जिा िा िड़ाई से पालि निया जािा चानहए। हालााँ नि, मूल्ाों िि िरते
समय, ज उत्तर िवीितम जाििारी या ज्ञाि पर आधाररत हैं और/या िवीि हैं , अन्यथा उििी सत्यता िा मूल्ाों िि
निया जा सिता है और उन्हें उनचत अोंि नर्दए जा सिते हैं । िक्षा-X में, र्द य ग्यता-आधाररत प्रश् ों िा मूल्ाों िि
िरते समय, िृपया नर्दए गए उत्तर ि समझिे िा प्रयास िरें और भले ही उत्तर अोंिि य जिा से ि ह , लेनिि
उम्मीर्दवार द्वारा सही य ग्यता नगिाई गई ह , उनचत अोंि नर्दए जािे चानहए।
4 अोंिि य जिा में उत्तर ों िे नलए िेवल सुझाए गए मूल् अोंि ह ते हैं
ये िेवल नर्दशानिर्दे श ों िी प्रिृनत में हैं और सोंपूर्ि उत्तर िही ों बिाते हैं । नवद्यानथिय ों िी अपिी अनभव्यक्ति ह सिती
है और यनर्द अनभव्यक्ति सही है त उसिे अिुसार उनचत अोंि नर्दये जािे चानहए।
5 प्रधाि-परीक्षि ि पहले नर्दि प्रत्येि मूल्ाों िििताि द्वारा मूल्ाों िि िी गई पहली पाों च उत्तर पुक्तस्तिाओों ि र्दे खिा
ह गा, तानि यह सुनिनित ह सिे नि मूल्ाों िि अोंिि य जिा में नर्दए गए निर्दे श ों िे अिुसार निया गया है । यनर्द
ि ई नभन्नता ह त नवचार-नवमशि िे बार्द उसे शून्य निया जाए। मूल्ाों िि िे नलए शे ष उत्तर पुक्तस्तिाएों यह
सुनिनित िरिे िे बार्द ही र्दी जाएों गी नि व्यक्तिगत मूल्ाों ििितािओों िे अोंिि में ि ई महत्वपूर्ि नभन्नता िही ों है ।
6 जहाों भी उत्तर सही ह गा, मूल्ाों िििताि (√) अोंनित िरें गे। गलत उत्तर िे नलए िॉस 'X' अोंनित निया जाए।
मूल्ाों िििताि मूल्ाों िि िरते समय सही (✓) िहीों लगाएों गे नजससे यह आभास ह गा नि उत्तर सही है और ि ई
अोंि िही ों नर्दया गया है । यह सबसे आम गलती है ज मूल्ाों िििताि िर रहे हैं ।
7 यनर्द निसी प्रश् िे िुछ भाग हैं , त िृपया प्रत्येि भाग िे नलए र्दानहिी ओर अोंि र्दें । निर प्रश् िे नवनभन्न भाग ों िे
नलए नर्दए गए अोंि ों ि ज ड़ नर्दया जािा चानहए और बाएों हाथ िे हानशये में नलखा जािा चानहए और घेरा बिाया
जािा चानहए। इसिा सख्ती से पालि निया जा सिे.
8 यनर्द निसी प्रश् में ि ई भाग िही ों है , त बाएों हाथ िे हानशए में अोंि नर्दए जािे चानहए और घेरा लगािा चानहए।
इसिा भी सख्ती से पालि निया जा सिता है .
9 यनर्द निसी छाि िे एि अनतररि प्रश् िा प्रयास निया है , त अनधि अोंि ों िे य ग्य प्रश् िा उत्तर बरिरार रखा
जािा चानहए और र्दूसरे उत्तर ि "अनतररि प्रश्" ि ट िे साथ िाट नर्दया जािा चानहए।
10 निसी िुनट िे सोंचयी प्रभाव िे नलए ि ई अोंि िही ों िाटा जाएगा। इसे िेवल एि बार र्दों नर्त निया जािा चानहए।
12 प्रत्येि परीक्षि ि आवश्यि रूप से पूरे िायि समय अथाि त प्रनतनर्दि 8 घोंटे ति मूल्ाों िि िायि िरिा ह गा तथा
मुख्य नवषय ों में प्रनतनर्दि 20 उत्तर पुक्तस्तिाओों तथा अन्य नवषय ों में प्रनतनर्दि 25 उत्तर पुक्तस्तिाओों िा मूल्ाों िि
िरिा ह गा (स्पॉट गाइर्लाइन्स में नववरर् नर्दया गया है )। प्रश् पि में िम निये गये पाठ्यिम और प्रश् ों िी सोंख्या।
13 सुनिनित िरें नि आप अतीत में परीक्षि द्वारा िी गई निम्ननलक्तखत सामान्य प्रिार िी िुनटयााँ ि िरें : -
● उत्तर पुक्तस्तिा में उत्तर या उसिे निसी भाग ि नबिा मूल्ाों िि निये छ ड़ र्दे िा।
● निसी उत्तर िे नलए निधाि ररत अोंि से अनधि अोंि र्दे िा।
● निसी उत्तर पर नर्दए गए अोंि ों िा गलत य ग।
● उत्तर पुक्तस्तिा िे अोंर्दर िे पन्न ों से मुख्य पृष्ठ पर अोंि ों िा गलत स्थािाों तरर्।
● शीषिि पृष्ठ पर गलत प्रश्वार य ग।
● शीषिि पृष्ठ पर र्द िॉलम ों िे अोंि ों िा गलत य ग।
● गलत य ग।
● शब् ों और अोंि ों में अोंनित नचह्न मेल िही ों खाते/समाि िही।ों
● उत्तर पुक्तस्तिा से ऑिलाइि पु रस्कार सूची में अोंि ों िा गलत स्थािाों तरर्।
● उत्तर ों ि सही िे रूप में नचनह्नत निया गया, लेनिि अोंि िही ों नर्दए गए। (सुनिनित िरें नि सही नटि मािि सही
और स्पष्ट रूप से इों नगत निया गया है । यह िेवल एि पोंक्ति ह िी चानहए। गलत उत्तर िे नलए एक्स िे साथ भी
ऐसा ही है ।)
● उत्तर िे आधे या िुछ भाग ि सही और शेष ि गलत नचनह्नत निया गया, लेनिि ि ई अोंि िही ों नर्दया गया।
14 उत्तर पुक्तस्तिाओों िा मूल्ाों िि िरते समय यनर्द उत्तर पूरी तरह से गलत पाया जाता है , त इसे िॉस (X) िे रूप में
नचनह्नत निया जािा चानहए और शून्य (0) अोंि नर्दए जािे चानहए।
15 ि ई भी मूल्ाों िि ि निया गया भाग, शीषिि पृष्ठ पर अोंि ि ले जािा, या उम्मीर्दवार द्वारा पाई गई िुल िुनट से
मूल्ाों िि िायि में लगे सभी िनमिय ों और ब र्ि िी प्रनतष्ठा ि िुिसाि ह गा। इसनलए, सभी सोंबोंनधत पक्ष ों िी प्रनतष्ठा
बिाए रखिे िे नलए, यह निर से र्द हराया जाता है नि निर्दे श ों िा सावधािीपूविि और नववेिपूर्ि तरीिे से पालि
निया जाए।
16 परीक्षि ों ि वास्तनवि मूल्ाों िि शुरू िरिे से पहले "स्पॉट मूल्ाों िि िे नलए नर्दशानिर्दे श" में नर्दए गए
नर्दशानिर्दे श ों से पररनचत ह िा चानहए।
17 प्रत्येि परीक्षि यह भी सुनिनित िरे गा नि सभी उत्तर ों िा मूल्ाोंिि निया गया है , अोंि ों ि शीषिि पृष्ठ पर ले
जाया गया है , सही ढों ग से य ग निया गया है और अोंि ों और शब् ों में नलखा गया है ।
18 उम्मीर्दवार निधाि ररत प्रसोंस्करर् शुल्क िा भुगताि िरिे अिुर ध पर उत्तर पुक्तस्तिा िी ि ट िॉपी प्राप्त िरिे िे
हिर्दार हैं । सभी परीक्षि /ों अनतररि प्रधाि परीक्षि /ों प्रधाि परीक्षि ों ि एि बार निर यार्द नर्दलाया जाता है नि
उन्हें यह सुनिनित िरिा ह गा नि मूल्ाों िि अोंिि य जिा में नर्दए गए प्रत्येि उत्तर िे नलए मूल् नबोंर्दुओों िे
अिुसार सख्ती से निया जाए।
(b)
• नद्वनवस्थापि अनभनिया ½
½
• क् नों ि आयि ों िा आर्दाि-प्रर्दाि ह ता है
2
22
• जब वह पास िी वस्तुओों ि स्पष्ट रूप से िहीों र्दे ख पाता है लेनिि र्दूर ½
िी वस्तुओों ि स्पष्ट रूप से र्दे ख पाता है।
अथवा
(b)
• स्थायी चुोंबि/धारा प्रवानहत पररिानलिा/ नवद्दयुत चुोंबि ½
नचि-12.11, पेज.223-NCERT
आरे ख: 1
नामांकन: ½
भाग में आ जाता है। प्रर ह िी प्रिाश से र्दूर वाली साइर् में ऑक्तक्सि िा साोंद्रर् ि नशिाओों 1½
ि लोंबाई में वृक्ति िे नलए उद्दीनपत िरता है। अतः पार्दप प्रिाश िी ओर मुड़ता हुआ नर्दखाई
अथवा
(b)
½
½
2
26
• जैव-निम्नीिरर्ीय− वे पर्दाथि ज जैनवि प्रनियाओों द्वारा नवघनटत ह जाते हैं। ½
½
• अजैव-निम्नीिरर्ीय− वे पर्दाथि ज जैनवि प्रनियाओों द्वारा नवघनटत िहीों ह ते हैं।
वगीकरण:-
27 (a)
(i) अपचयन प्रतिया – भजिि ½
½
कारण- मििरी िा िम नियाशील ह िा।
अथवा
(b)
(i) तिखावट में पररवततन - सिेर्द से िाला रों ग। ½+½
कारण- नसल्वर सल्फाइर् बिता है।
28 Na = 2, 8, 1; O = 2,6 ½+½
• धिायि- स नर्यम
½
• ऋर्ायि- ऑक्साइर्
½
3
29 (a) संघटक:- मक्तस्तष्क और मेरुरज्जु। ½+½
ग्लूि ज → पायरूवेट ½
𝑂2 िी उपक्तस्थनत
ग्लूि ज → पायरूवेट → िाबिि र्ाइऑक्साइर् + जल + ऊजाि 1
स्थल − माइट िॉक्तरिया में
½ 3
31
• यह नवद्दयुत उपिरर् /ों सानधि ों तथा नवद्दयुत पररपथ ि ओवरल नर्ों ग तथा शॉटि सनििट से 1
ह िे वाली क्षनत से बचाता है।
P=VI
½
P 3000 𝑊
I= = 220 𝑉 = 13·63 A 1
V
• 13·63 A > फ़्यूज़ िी रे नटों ग 5 A, इसनलए फ़्यूज़ िा तार नपघल जाएगा और सनििट ि त ड़ ½
र्दे गा।
3
32
• प्रिाश िा प्रिीर्िि / नटों र्ल प्रभाव। 1
• जब एि प्रिाश निरर् पुोंज धुोंए िे महीि िर् ों से टिराती है त वह र्दूर ति परावनतित ह ती है
• यनर्द निसी खराबी िे िारर् एि नवर्द्युत उपिरर् िाम िरिा बोंर्द िर र्दे ता है तब भी अन्य 1
• प्रत्येि उपिरर् में समाि नवभवान्तर ह ता है और वह आवश्यितािुसार नवद्दयुत धारा लेता है। 1
• समािाोंतर पररपथ में िुल प्रनतर ध िम ह जाता है।
(कोई तीन)
3
SECTION D (खण्ड-घ)
34 (a) (i)
(1)
नचि.9.13(b)-पेज-169, NCERT.
(2)
1
(नोट:- यति तकरणों की तिशाएँ नही ं तिखाई गई है तो आिा अंक काट लें)
1 –1
=
v 48
v = – 48 cm 1
ℎ′ −48
= −16
4
h' = 12 cm ½
5
अथवा
(b) (i)
(1)
(नोट:- यति तकरणों की तिशाएं नही ं तिखाई गई है तो आिा अंक काट लें)
1 1 1 ½
र्दपिर् सूि + =
v u f
1 1 1
= –
v f u
1 1
= –
– 12 cm – 18 cm
−1
= 36
v = – 36 cm 1
ℎ′ 𝑣 ½
𝑚= = −𝑢
ℎ
ℎ′ (−36)
= - (−18)
1.5
ℎ′ = – 3·0 cm ½
• लड़ि ों में − चेहरे पर र्दाढी-मूोंछ नििल आती है , आवाज िटिे लगती है , नलोंग बड़ा ह िर ½+½
ऊर्ध्ि ह िे लगता है।
(कोई िो)
भूतमका :
अथवा
(a) (i)अोंर्ाशय −
• एस्टि जि हामोि िा उत्पार्दि ½
½
• मार्दा युग्मि/अोंर् िा उत्पार्दि
(ii) अोंर्वानहिा −
• इसमें भ्रूर् िी ओर िे उत्ति में प्रवधि ह ते हैं ज मााँ िे उत्ति ों में रि स्थाि ह ते हैं।
½× 2
कायत :
36 (a) (i)
(1) नवलयि B
(2) नवलयि C
(3) नवलयि A
(4) नवलयि D
(5) नवलयि E ½x5
37
(a) • CH3Br ½
• C2H5Br ½
½
• KMnO4 िा रों ग नवलुप्त ह जाता है;
अथवा
(c) • एथीि ½
तिु. H2SO4 निजिलीिारि िे रूप में िायि िरता है। ½
38 ½+½
(a) लार ग्रोंनथ; मोंर्/िाबोहाइर्ि े ट
½ +½
(b) आमाशय , गुर्दा
(c)
(i) आमाशय िा आतोंररि आस्तर अम्लीय प्रभाव से सुरनक्षत िहीों रहेगा । 1
1
(ii) पानचत भ जि अवश नषत िहीों ह गा। / अवश षर् क्षेि िम ह जाएगा ।
अथवा
(c)
• वसा िा इमल्सीिरर्।
1
• अग्न्याशय िे एों जाइम ों िी निया िरिे िे नलए अम्लीय माध्यम ि क्षारीय बिाता है। 1 4
X SCIENCE 31/3/2 PAGE 13
39
(a) (i) बल्ब A प्रर्दीप्त ह गा । ½
½
(ii) बल्ब B, C, D और E प्रर्दीप्त ह ग
ों े।
(b) P = V×I ½
11 = 55 ×I
1 ½
I = 5 = 0.2 ऐक्तियर
(c)
𝑉 55 𝑉
(i) बल्ब B िा प्रनतर ध, R = 𝐼 = = 275 1
0.2 𝐴
𝑽𝟐
(प्रनतर ध िे नलए वैिक्तल्पि सूि R = )
𝑷
= 4 275 = 1100 1
अथवा
(c)
• बल्ब A उसी चमि िे साथ प्रर्दीप्त ह गा। ½
चूोंनि बल्ब B, D और E, फ्यूज बल्ब C िे साथ श्ृोंखला सोंय जि में जुड़े हुए हैं , इसनलए उििे
*****
1 आप जािते हैं नि अभ्यनथिय ों िे वास्तनवि एवों सही मूल्ाों िि में मूल्ाों िि सबसे महत्वपूर्ि प्रनिया है । मूल्ाों िि में
एि छ टी सी गलती गोंभीर समस्याओों िा िारर् बि सिती है ज उम्मीर्दवार ों िे भनवष्य, नशक्षा प्रर्ाली और नशक्षर्
पेशे ि प्रभानवत िर सिती है । गलनतय ों से बचिे िे नलए आपसे अिुर ध है नि मूल्ाों िि शु रू िरिे से पहले स्पॉट
मूल्ाों िि नर्दशानिर्दे श ों ि ध्याि से पढें और समझें।
2 “मूल्ाों िि िीनत एि ग पिीय िीनत है क् नों ि यह आय नजत परीक्षाओों, निए गए मूल्ाों िि और िई अन्य पहलुओों
िी ग पिीयता से सोंबोंनधत है । इसिे निसी भी तरह से जिता िे बीच लीि ह िे से परीक्षा प्रर्ाली पटरी से उतर
सिती है और लाख ों उम्मीर्दवार ों िे जीवि और भनवष्य पर असर पड़ सिता है । इस िीनत/र्दस्तावेज़ ि निसी िे
साथ साझा िरिे , निसी पनििा में प्रिानशत िरिे और समाचार पि/वेबसाइट आनर्द में छापिे पर ब र्ि और आईपीसी
िे नवनभन्न नियम ों िे तहत िारि वाई ह सिती है । '
3 मूल्ाों िि अोंिि य जिा में नर्दए गए निर्दे श ों िे अिुसार निया जािा है । इसे अपिी व्याख्या या निसी अन्य नवचार िे
अिुसार िही ों निया जािा चानहए। अोंिि य जिा िा िड़ाई से पालि निया जािा चानहए। हालााँ नि, मूल्ाों िि िरते
समय, ज उत्तर िवीितम जाििारी या ज्ञाि पर आधाररत हैं और/या िवीि हैं , अन्यथा उििी सत्यता िा मूल्ाों िि
निया जा सिता है और उन्हें उनचत अोंि नर्दए जा सिते हैं । िक्षा-X में, र्द य ग्यता-आधाररत प्रश् ों िा मूल्ाों िि
िरते समय, िृपया नर्दए गए उत्तर ि समझिे िा प्रयास िरें और भले ही उत्तर अोंिि य जिा से ि ह , लेनिि
उम्मीर्दवार द्वारा सही य ग्यता नगिाई गई ह , उनचत अोंि नर्दए जािे चानहए।
4 अोंिि य जिा में उत्तर ों िे नलए िेवल सुझाए गए मूल् अोंि ह ते हैं
ये िेवल नर्दशानिर्दे श ों िी प्रिृनत में हैं और सोंपूर्ि उत्तर िही ों बिाते हैं । नवद्यानथिय ों िी अपिी अनभव्यक्ति ह सिती है
और यनर्द अनभव्यक्ति सही है त उसिे अिुसार उनचत अोंि नर्दये जािे चानहए।
5 प्रधाि-परीक्षि ि पहले नर्दि प्रत्येि मूल्ाों िििताि द्वारा मूल्ाों िि िी गई पहली पाों च उत्तर पुक्तस्तिाओों ि र्दे खिा
ह गा, तानि यह सुनिनित ह सिे नि मूल्ाों िि अोंिि य जिा में नर्दए गए निर्दे श ों िे अिुसार निया गया है । यनर्द
ि ई नभन्नता ह त नवचार-नवमशि िे बार्द उसे शून्य निया जाए। मू ल्ाों िि िे नलए शेष उत्तर पुक्तस्तिाएों यह सुनिनित
िरिे िे बार्द ही र्दी जाएों गी नि व्यक्तिगत मूल्ाों िििताि ओों िे अोंिि में ि ई महत्वपूर्ि नभन्नता िही ों है ।
6 जहाों भी उत्तर सही ह गा, मूल्ाों िििताि (√) अोंनित िरें गे। गलत उत्तर िे नलए िॉस 'X' अोंनित निया जाए।
मूल्ाों िििताि मूल्ाों िि िरते समय सही (✓) िही ों लगाएों गे नजससे यह आभास ह गा नि उत्तर सही है और ि ई
अोंि िही ों नर्दया गया है । यह सबसे आम गलती है ज मूल्ाों िििताि िर रहे हैं ।
7 यनर्द निसी प्रश् िे िुछ भाग हैं , त िृपया प्रत्येि भाग िे नलए र्दानहिी ओर अोंि र्दें । निर प्रश् िे नवनभन्न भाग ों िे
नलए नर्दए गए अोंि ों ि ज ड़ नर्दया जािा चानहए और बाएों हाथ िे हानशये में नलखा जािा चानहए और घेरा बिाया जािा
चानहए। इसिा सख्ती से पालि निया जा सिे.
8 यनर्द निसी प्रश् में ि ई भाग िही ों है , त बाएों हाथ िे हानशए में अोंि नर्दए जािे चानहए और घेरा लगािा चानहए। इसिा
भी सख्ती से पालि निया जा सिता है .
9 यनर्द निसी छाि िे एि अनतररि प्रश् िा प्रयास निया है , त अनधि अोंि ों िे य ग्य प्रश् िा उत्तर बरिरार रखा
जािा चानहए और र्दूसरे उत्तर ि "अनतररि प्रश्" ि ट िे साथ िाट नर्दया जािा चानहए।
10 निसी िुनट िे सोंचयी प्रभाव िे नलए ि ई अोंि िही ों िाटा जाएगा। इसे िेवल एि बार र्दों नर्त निया जािा चानहए।
12 प्रत्येि परीक्षि ि आवश्यि रूप से पूरे िायि समय अथाि त प्रनतनर्दि 8 घोंटे ति मूल्ाों िि िायि िरिा ह गा तथा
मुख्य नवषय ों में प्रनतनर्दि 20 उत्तर पुक्तस्तिाओों तथा अन्य नवषय ों में प्रनतनर्दि 25 उत्तर पुक्तस्तिाओों िा मूल्ाों िि िरिा
ह गा (स्पॉट गाइर्लाइन्स में नववरर् नर्दया गया है )। प्रश् पि में िम निये गये पाठ्यिम और प्रश् ों िी सोंख्या।
13 सुनिनित िरें नि आप अतीत में परीक्षि द्वारा िी गई निम्ननलक्तखत सामान्य प्रिार िी िुनटयााँ ि िरें : -
● उत्तर पुक्तस्तिा में उत्तर या उसिे निसी भाग ि नबिा मूल्ाों िि निये छ ड़ र्दे िा।
● निसी उत्तर िे नलए निधाि ररत अोंि से अनधि अोंि र्दे िा।
● निसी उत्तर पर नर्दए गए अोंि ों िा गलत य ग।
● उत्तर पुक्तस्तिा िे अोंर्दर िे पन्न ों से मुख्य पृष्ठ पर अोंि ों िा गलत स्थािाों तरर्।
● शीषिि पृष्ठ पर गलत प्रश्वार य ग।
● शीषिि पृष्ठ पर र्द िॉलम ों िे अोंि ों िा गलत य ग।
● गलत य ग।
● शब् ों और अोंि ों में अोंनित नचह्न मेल िही ों खाते/समाि िही।ों
● उत्तर पुक्तस्तिा से ऑिलाइि पु रस्कार सूची में अोंि ों िा गलत स्थािाों तरर्।
● उत्तर ों ि सही िे रूप में नचनह्नत निया गया, लेनिि अोंि िही ों नर्दए गए। (सुनिनित िरें नि सही नटि मािि सही
और स्पष्ट रूप से इों नगत निया गया है । यह िेवल एि पोंक्ति ह िी चानहए। गलत उत्तर िे नलए एक्स िे साथ भी ऐसा
ही है ।)
● उत्तर िे आधे या िुछ भाग ि सही और शेष ि गलत नचनह्नत निया गया, लेनिि ि ई अोंि िही ों नर्दया गया।
14 उत्तर पुक्तस्तिाओों िा मूल्ाों िि िरते समय यनर्द उत्तर पूरी तरह से गलत पाया जाता है , त इसे िॉस (X) िे रूप में
नचनह्नत निया जािा चानहए और शून्य (0) अोंि नर्दए जािे चानहए।
15 ि ई भी मूल्ाों िि ि निया गया भाग, शीषिि पृष्ठ पर अोंि ि ले जािा, या उम्मीर्दवार द्वारा पाई गई िुल िुनट से
मूल्ाों िि िायि में लगे सभी िनमि य ों और ब र्ि िी प्रनतष्ठा ि िुिसाि ह गा। इसनलए, सभी सोंबोंनधत पक्ष ों िी प्रनतष्ठा
बिाए रखिे िे नलए, यह निर से र्द हराया जाता है नि निर्दे श ों िा सावधािीपूविि और नववेिपूर्ि तरीिे से पालि
निया जाए।
16 परीक्षि ों ि वास्तनवि मूल्ाों िि शुरू िरिे से पहले "स्पॉट मूल्ाोंिि िे नलए नर्दशानिर्दे श" में नर्दए गए नर्दशानिर्दे श ों
से पररनचत ह िा चानहए।
17 प्रत्येि परीक्षि यह भी सुनिनित िरे गा नि सभी उत्तर ों िा मूल्ाोंिि निया गया है , अोंि ों ि शीषिि पृष्ठ पर ले जाया
गया है , सही ढों ग से य ग निया गया है और अोंि ों और शब् ों में नलखा गया है ।
18 उम्मीर्दवार निधाि ररत प्रसोंस्करर् शुल्क िा भुगताि िरिे अिुर ध पर उत्तर पुक्तस्तिा िी ि ट िॉपी प्राप्त िरिे िे
हिर्दार हैं । सभी परीक्षि /ों अनतररि प्रधाि परीक्षि /ों प्रधाि परीक्षि ों ि एि बार निर यार्द नर्दलाया जाता है नि
उन्हें यह सुनिनित िरिा ह गा नि मूल्ाों िि अोंिि य जिा में नर्दए गए प्रत्येि उत्तर िे नलए मूल् नबोंर्दुओों िे अिुसार
सख्ती से निया जाए।
ऊष्मा 1
(b) 2FeSO4(s) → Fe2O3(s) + SO2(g) + SO3(g)
2
अथवा
(b)
½
½
23
• प्रर ह/ जड़ िे अग्र भाग (नटप) में सोंश्लेनषत ह ता है । ½
• जब पार्दप पर एि ओर से प्रिाश आ रहा है तब ऑक्तक्सि नवसररत ह िर प्रर ह
िे छाया वाले भाग में आ जाता है। प्रर ह िी प्रिाश से र्दूर वाली साइर् में 1½
ऑक्तक्सि िा साोंद्रर् ि नशिाओों ि लोंबाई में वृक्ति िे नलए उद्दीनपत िरता है।
(b)
• स्थायी चुोंबि/धारा प्रवानहत पररिानलिा/ नवद्दयुत चुोंबि ½
नचि-12.11, पेज.223-NCERT
आरे ख: 1
नामांकन: ½
25
जब वह पास िी वस्तुओों ि स्पष्ट रूप से िहीों र्दे ख पाता है लेनिि र्दूर ½
िी वस्तुओों ि स्पष्ट रूप से र्दे ख पाता है।
• 2 िारर्:
26
(a) निसी पाररक्तस्थनतिी तोंि में प्रत्येि प षी स्तर पर नविल्प ों िे रूप में नवनभन्न 1
प्रिार िे जीव ों िी अनधि सोंख्या उपलब्ध ह ती है।
(b) 10 प्रनतशत नियम िे अिुसार प्रत्येि प षी स्तर पर उपलब्ध ऊजाि घटती रहती 1
है। इसनलए अनधि प षी स्तर ों िे िारर् अोंनतम प षी स्तर पर िम ऊजाि ह ती है
27 (a)
• थनमिट अनभनिया ½
• Fe2O3(s) + 2Al(s) → 2Fe(l) + Al2O3(s) + ऊष्मा 1
नवस्थानपत िर र्दे ता है
अथवा
(b)
(i) ‘E’− स नर्यम (Na) / प टै नशयम(K) ½
(ii)
• जल में − 2Na(s) + 2H2O(l)→ 2NaOH(aq) +H2 (g) + ऊजाि 1
½
• उत्पार्द िी प्रिृनत – क्षारिीय
28
(a) उभयधमी ऑक्साइर् (नजोंि ऑक्साइर्) अम्ल तथा क्षारि र्द ि ों से अनभनिया 1
िरिे लवर् तथा जल प्रर्दाि िरता है।
• अनुतियायें :-
P=VI ½
P 3000 𝑊 1
I= = 220 𝑉 = 13·63 A
V
𝑉 4× 1·5 𝑉 6𝑉 1
(a) नवद्दयुत धारा (I) = = = = A 1
𝑅 2𝛺 +6𝛺+16𝛺 24𝛺 4
1
(b) 16 प्रततरोधक के आर-पार ववभवान्तर= A 16 = 4 V
4 1
34 (a) (i)
(1)
नचि.9.13(b)-पेज-169, NCERT.
(2)
(नोट:- यति तकरणों की तिशाएँ नही ं तिखाई गई है तो आिा अंक काट लें)
(ii)
1 –1
=
v 48
1
v = – 48 cm
ℎ′ −48
= −16
4
h' = 12 cm ½
5
अथवा
(b) (i)
(1)
(नोट:- यति तकरणों की तिशाएं नही ं तिखाई गई है तो आिा अंक काट लें)
1 1 1
= –
v f u
1 1
= –
– 12 cm – 18 cm
−1
= 36
v = – 36 cm 1
ℎ′ 𝑣 ½
𝑚= = −𝑢
ℎ
ℎ′ (−36)
= - (−18)
1.5
½
ℎ′ = – 3·0 cm
(कोई िो)
(b) क् नों ि मार्दा भ्रूर् िी निमिम हत्या िे िारर् हमारे र्दे श में नशशु नलोंगािुपात 1
तीव्रता से घट रहा है
(c)
5
(iii) शल् तििीि; सोंिमर् िा िारर् बि सिता है .
अथवा
वायु,जल, प्रार्ी.
(c) A→ प्राोंिुर – भावीप्रर ह
½× 4
B→ मूलाोंिुर – भावी जड़
36 (a) (i)
(1) नवलयि B
(2) नवलयि C
(3) नवलयि A
(4) नवलयि D ½x5
(5) नवलयि E
• X – Cl2 गैस – एि र् पर ½+ ½
• Y – H2 गैस – िैथ र् पर ½+½
SECTION E- (खण्ड-ड.)
37
(a) • CH3Br ½
• C2H5Br ½
अथवा
(c) • एथीि ½
तिु. H2SO4 निजिलीिारि िे रूप में िायि िरता है। ½
38
(a) लार ग्रोंनथ; मोंर्/िाबोहाइर्र े ट ½+½
(b) आमाशय , गुर्दा
½ +½
(c)
(i) आमाशय िा आतोंररि आस्तर अम्लीय प्रभाव से सुरनक्षत िहीों रहेगा । 1
1
(ii) पानचत भ जि अवश नषत िहीों ह गा। / अवश षर् क्षेि िम ह जाएगा ।
अथवा
(c)
• वसा िा इमल्सीिरर्। 1
• अग्न्याशय िे एों जाइम ों िी निया िरिे िे नलए अम्लीय माध्यम ि क्षारीय बिाता 1
है। 4
39
(a) (i) बल्ब A प्रर्दीप्त ह गा । ½
½
(ii) बल्ब B, C, D और E प्रर्दीप्त ह ग
ों े।
(b) P = V×I ½
11 = 55 ×I
1 ½
I = 5 = 0.2 A
𝑽𝟐
(प्रनतर ध िे नलए वैिक्तल्पि सूि R = )
𝑷
= 4 275 = 1100
अथवा
(c)
• बल्ब A उसी चमि िे साथ प्रर्दीप्त ह गा। ½
• कारण:
चूोंनि बल्ब B, D और E, फ्यूज बल्ब C िे साथ श्ृोंखला सोंय जि में जुड़े हुए हैं ,
िहीों ह ग
ों े। बल्ब A अप्रभानवत रहता है , क् नों ि यह समािाोंतर सोंय जि में जुड़ा हुआ
है।
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