1. भौतिक विज्ञान का अर्थ

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भौतिक विज्ञान का अर्थ (Meaning of physics)

भौतिक विज्ञान विज्ञान की वह शाखा है, जिसमें ऊर्जा के विभिन्न स्वरूपों तथा द्रव्य से उसकी अन्योन्य क्रियाओं का अध्ययन किया
जाता है।

भौतिक शब्द की उत्पत्ति

प्राचीन काल से ‘‘भौतिक’’ शब्द का प्रयोग वेदों में किया जाता रहा है। जिसका अभिप्राय है ‘प्राकृ तिक’। इसी से
भौतिक शब्द की उत्पत्ति हुई है। शब्द Physics ग्रीक शब्द Fusis से बना है। जिसका अभिप्राय है ‘प्रकृ ति’।

भौतिक विज्ञान का जनक कौन है?

भौतिक विज्ञान का जनक का नाम सर आइजेक न्यूटन है।


आधुनिक भौतिक विज्ञान का जनक गैलीलियो गैलीली एंव अल्बर्ट आइंस्टीन है।
भौतिक विज्ञान के प्रायोगिक पक्ष ने शिल्प प्रौद्योगिकी के विकास में महत्त्वपूर्ण योगदान दिया है ।

भौतिकी का क्षेत्र

परम्परागत रूप से संगठित क्लासिकी तथा आधुनिक भौतिकी की मुख्य शाखाओं का संक्षिप्त विवरण दिया जा रहा है-

यान्त्रिकी- यान्त्रिकी वस्तुओं की गति एवं आधारभूत भौतिक सिद्धान्तों द्वारा समझे जाने वाले उनके पारस्परिक अन्तर्सम्बन्धों का
अध्ययन है। इस दृष्टि से भौतिकी स्वयं यान्त्रिकी है। यान्त्रिकी को तीन संवर्गों-क्लासिकी, क्वाण्टम तथा सापेक्षिक में रखा गया है।
क्लासिकी यान्त्रिकी को स्थिति विज्ञान, गति विज्ञान तथा द्रवस्थिति विज्ञान के रूप में जाना जाता है। इसमें मुख्य रूप से न्यूटन के गति
के नियम, गुरुत्वाकर्षण, संवेग तथा ऊर्जा की व्यापक प्रयुक्ति है।

द्रवगति विज्ञान तथा ऊष्मा- इसके अंतर्गत तापीय व्यवस्था का अध्ययन किया जाता है। इसमें द्रवगति विज्ञान के तीन नियमों तथा
सांख्यिकीय यान्त्रिकी का अध्ययन शामिल है।

विद्युत तथा चुम्बक- इसको विद्युत-चुम्बकत्व भी कहते हैं। इसके अध्ययन का आधार उन कणों को पारस्परिक अन्तक्रियाएँ हैं जिनमें
विद्युत प्रवाहित होता है।

प्रकाशिकी- इसमें प्रकाश ऊर्जा का अध्ययन सम्मिलित है। मूल रूप में यह क्षेत्र विद्युत-चुम्बकत्व की प्रयुक्ति है।

परमाणु भौतिकी- भौतिकी की इस शाखा में परमाणु का अध्ययन किया जाता है।

ठोस अवस्था भौतिकी– पूर्व में यह परमाणु भौतिकी का ही अंग था पर अब इसको भौतिकी की स्वतन्त्र शाखा माना जाता है। इसमें
ठोस वस्तुओं के विद्युतीय, चुम्बकीय, प्रकाशीय तथा प्रत्यास्थ गुणों का अध्ययन सम्मिलित है।
नाभिकीय भौतिकी- इसमें नाभिकीय संरचना तथा अस्थायी नाभिकों से विकिरण का अध्ययन किया जाता है। इसमें नाभिकीय ऊर्जा
का अध्ययन सम्मिलित है।

कणीय भौतिकी- आधुनिक भौतिकी की सीमा मौलिक कणों के अध्ययन तक है। ये कण पदार्थ के आधारभूत अंग हैं। भौतिकी की इस
शाखा को उच्च ऊर्जा भौतिकी भी कहा जाता है। इसमें उन सत्ताओं के पारस्परिक साम्य संबंधों का अध्ययन सम्मिलित है जो
आधारभूत सत्ताओं के संयोग नहीं माने जाते।

क्वाण्टम यान्त्रिकी- भौतिकी की यह शाखा क्वाण्टम सिद्धान्त पर आधारित है, जिसके विलक्षण अभिलाक्षणिक गुण अवरोध तथा
वास्तविक अनिश्चितता हैं। इसके प्रतिपादक जर्मन भौतिकी विज्ञानी मैक्स प्लैंक हैं।

सापेक्ष यान्त्रिकी- इसका आधार सापेक्षता सिद्धान्त है। इस सिद्धान्त को 1905 में आइन्सटीन ने प्रतिपादित किया था।

मात्रकों से जुड़े महत्‍वपूर्ण तथ्‍य

मात्रक (unit)मात्रक (unit) किसी राशि के मापन ले निर्देश मानक को मात्रक (unit) कहते हैं. मात्रक दो प्रकार के होते हैं- मूल
मात्रक (fundamental unit) और व्युतपन्न मात्रक (derived unit). S.I. पद्ध्यति में मूल मात्रक की संख्या 7 है-

S.I. के सम्पूरक मूल मात्रक

भौतिक राशि S.I. के मूल मात्रक संके त

लंबाई मीटर (meter) m (मी)

द्रव्यमान किलोग्राम (kilogram) Kg

समय सेकं ड (second) s

ताप के ल्विन (kelvin) K

विद्युत धारा ऐम्प‍ियर (ampere) A

ज्योति तीव्रता कैं डेला (candela) cd

पदार्थ का परिमाण मोल (mole) mol

भौतिक राशि S.I. के मूल मात्रक संके त

समतल कोण रेडियन (radian) rad (रेड)

घन का कोण स्‍टेरेडियन (steradian) sr


S.I. के कु छ पुराने मात्रको के नए नाम और संके त

भौतिक राशि S.I. के मूल मात्रक संके त

ताप डिग्री सेंटीग्रेड, ०C (पुराना) डिग्री सेल्सियस, ०C (नया )

आवृत्ति कं पन प्रति सेकं ड, cps (पुराना) हर्ट्ज़ ,Hz (नया)

ज्योति-तीव्रता(luminious कै ण्डिल शक्ति, C.P. (पुराना) कै ण्डेला, cd (नया)


intensity)

वे सभी मात्रक , जो मूल मात्रकों की सहायता से व्यक्त किये जाने है, व्युतपन्न मात्रक कहलाते है.

बहुत लंबी दूरियों को मापने के लिए प्रकाश-वर्ष प्रयोग किया जाता है अथार्त् प्रकाश-वर्ष दूरी का मात्रक है.

1 प्रकाश वर्ष = 9.46 x 10^15 मीटरदूरी मापने की सबसे बड़ी इकाई पारसेक है.

1 पारसेक = 3.26 प्रकाश वर्ष = 3.08 x 10^16 मीटरबल की C.G.S. पद्ध्यति में मात्रक डाइन है और S.I. पद्ध्यति में मात्रक
न्यूटन है.

1 न्यूटन = 10^5 डाइन कार्य की C.G.S. पद्ध्यति में मात्रक अर्ग है एवं S.I. पद्ध्यति में मात्रक जूल है.

1 जूल =10^7 अर्ग10 की विभिन्न घातों के प्रतीक (symbols for various powers of 10 ): भौतिकी में बहुत छोटी और
बहुत बड़ी राशियों के मानों को 10 की घात के रूप में व्यक्त किया जाता है. 10 की कु छ घातों को विशेष नाम तथा संके त दिए गए है
जिसे नीचे दी गई सारणी में दिया गया है:

दस की घात पूर्व प्रत्यय (perfix) प्रतीक (symbol)

10^18 एक्सा (exa) E

10^15 पेटा (peta) P

10^12 टेरा (tera) T

10^9 गीगा (giga) G

10^6 मेगा (mega) M

10^3 किलो (kilo) K

10^2 हेक्टो (hecto) H

10^1 डेका (deca) da


10^-18 एटो (atto) a

10^-15 फे म्टो (femto) F

10^-12 पीको (pico) P

10^-9 नैनो (nano) N

10^-6 माइक्रो (micro) µ

10^-3 मिली (milli) M

10^-2 सेंटी (centi) C

10^-1 डेसी (deci) d

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